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चम्बा, 05 दिसंबर [ ज्योति ] ! पंडित जवाहरलाल नेहरु मेडिकल कॉलेज चम्बा में हिमकेयर और आयुष्मान कार्डधारक मरीजों के निशुल्क टेस्ट नहीं हो पा रहे हैं। मेडिकल कॉलेज की सेंटरलैब और पैथोलॉजी लैब की दोनों मशीनें खराब पड़ी हैं। इन मशीनों को ठीक करवाने में प्रबंधन भी असफल रहा है इसकी वजह से मरीजों को निजी प्रयोगशाला में पैसे देकर टेस्ट करवाने पड़ रहे हैं। उन टेस्टों के लिए मरीज को महंगे दाम चुकाने पड़ रहे हैं कई टेस्ट इतने महंगे हैं कि जिन की अदायगी करना हर मरीजों के लिए मुमकिन नहीं है ऐसे मरीजों को इलाज करवाने के लिए टेस्ट के लिए पैसे उधार मांगने पड़ रहे हैं । कई मरीजों के तीमारदार टेस्ट करवाने के लिए उपायुक्त कार्यालय में भी अपनी दस्तक दे रहे हैं । जिला प्रशासन से टेस्ट मुफ्त करवाने की गुहार लगा रहे हैं जिला प्रशासन ऐसे मरीजों की सहायता कर रहा है ,लेकिन ज्यादातर मरीजों के तीमारदार इलाज करवाने के चक्कर में महंगे टेस्ट करवाने के लिए मजबूर हैं। तीमारदार धर्म चंद, रिड़कु , रवि कुमार, रतन चंद कुलदीप ने बताया कि अस्पताल में भर्ती किए जाने वाले मरीजों को चिकित्सक सबसे पहले खून से संबंधित टेस्ट करवाने का परामर्श देते हैं ऐसे में जब तीमारदार मरीजों का टेस्ट करवाने के लिए सेंटर लेब या पैथोलॉजी लैब में संपर्क करते हैं तो उन्हें खराब मशीन का हवाला देकर टेस्ट नहीं होने के बारे में कहा जाता है । इसकी वजह से मरीज और तीमारदार काफी परेशान है मेडिकल कॉलेज में रोजाना 500 से अधिक ओपीडी होती है ऐसे में रोजाना 200 मरीजों को खून से संबंधित सीबीसी और सीबीजी टेस्ट करवाने के लिए कहा जाता है एक महीने से मेडिकल कॉलेज में यह टेस्ट नहीं किए जा रहे हैं। Please Submit your Opinion Poll ? [yop_poll id="6"] https://youtube.com/playlist?list=PLfNkwz3upB7OrrnGCDxBewe7LwsUn1bhs
चम्बा, 05 दिसंबर [ ज्योति ] ! पंडित जवाहरलाल नेहरु मेडिकल कॉलेज चम्बा में हिमकेयर और आयुष्मान कार्डधारक मरीजों के निशुल्क टेस्ट नहीं हो पा रहे हैं।
मेडिकल कॉलेज की सेंटरलैब और पैथोलॉजी लैब की दोनों मशीनें खराब पड़ी हैं। इन मशीनों को ठीक करवाने में प्रबंधन भी असफल रहा है इसकी वजह से मरीजों को निजी प्रयोगशाला में पैसे देकर टेस्ट करवाने पड़ रहे हैं।
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उन टेस्टों के लिए मरीज को महंगे दाम चुकाने पड़ रहे हैं कई टेस्ट इतने महंगे हैं कि जिन की अदायगी करना हर मरीजों के लिए मुमकिन नहीं है ऐसे मरीजों को इलाज करवाने के लिए टेस्ट के लिए पैसे उधार मांगने पड़ रहे हैं । कई मरीजों के तीमारदार टेस्ट करवाने के लिए उपायुक्त कार्यालय में भी अपनी दस्तक दे रहे हैं ।
जिला प्रशासन से टेस्ट मुफ्त करवाने की गुहार लगा रहे हैं जिला प्रशासन ऐसे मरीजों की सहायता कर रहा है ,लेकिन ज्यादातर मरीजों के तीमारदार इलाज करवाने के चक्कर में महंगे टेस्ट करवाने के लिए मजबूर हैं। तीमारदार धर्म चंद, रिड़कु , रवि कुमार, रतन चंद कुलदीप ने बताया कि अस्पताल में भर्ती किए जाने वाले मरीजों को चिकित्सक सबसे पहले खून से संबंधित टेस्ट करवाने का परामर्श देते हैं ऐसे में जब तीमारदार मरीजों का टेस्ट करवाने के लिए सेंटर लेब या पैथोलॉजी लैब में संपर्क करते हैं तो उन्हें खराब मशीन का हवाला देकर टेस्ट नहीं होने के बारे में कहा जाता है ।
इसकी वजह से मरीज और तीमारदार काफी परेशान है मेडिकल कॉलेज में रोजाना 500 से अधिक ओपीडी होती है ऐसे में रोजाना 200 मरीजों को खून से संबंधित सीबीसी और सीबीजी टेस्ट करवाने के लिए कहा जाता है एक महीने से मेडिकल कॉलेज में यह टेस्ट नहीं किए जा रहे हैं।
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