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शिमला , 02 जुलाई [ विशाल सूद ] ! ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री अनिरुद्ध सिंह ने खुदपर लगे आरोपों को निराधार बताया है। अनिरुद्ध सिंह ने कहा कि अधिकारी घर गिरने का मामला दबाने के लिए झूठी शिकायत दर्ज करवा रहे हैं। अनिरुद्ध सिंह ने कहा कि एफआईआर में लगे आरोप बिलकुल निराधार हैं। उन्होंने एनएचएआई के सड़क निर्माण में लापरवाही को लेकर गंभीर आरोप लगाए। इस संबंध में वे जल्द ही केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी से मुलाकात करेंगे। उन्होंने कहा कि एनएचएआई के अधिकारी और ठेकेदार सड़क निर्माण में गड़बड़ी करते हैं और आम जनता की परेशानियों को नजरअंदाज करते हैं। एनएचएआई के अधिकारी और ठेकेदार सड़क निर्माण में कटिंग गलत तरीके से कर रहे हैं। एनएचएआई आंख मूंदकर बैठा हुआ है और सिर्फ मुआवजा देने की बात करता है। इससे जुड़ी लोगों की कई शिकायतें हैं और डीसी और एसडीएम के पास हजारों शिकायतें हैं। अनिरुद्ध सिंह ने पूछा कि क्या सिर्फ मुआवजा देना ही काफी है। जो लोग अपना घर और परिवार गंवा रहे हैं, उनके बारे में क्या सोचा गया है। राष्ट्र स्तर पर लोगों की जान बचाने के लिए नीति निर्माण की जरूरत है। एनएचएआई की सड़कों से आम लोगों को बड़ा नुकसान हो रहा है और निर्माण के दौरान लापरवाही बरती जा रही है। एनएचएआई को आम लोगों का दर्द ही नहीं पता है। अधिकारी तो सिर्फ आपदा प्रबंधन की मीटिंग कर रहे थे, लोगों के साथ जुड़े रहने की जरूरत है। एनएचएआई के अधिकारियों ने लोगों के साथ दुर्व्यवहार किया है और मारपीट के जो आरोप लगाए, वह निराधार हैं। एनएचएआई अधिकारियों ने पहले कहा कि कोई मारपीट नहीं हुई, बाद में अपना बयान बदल दिया गया। अपनी गलती छिपाने के लिए अब एफआईआर दर्ज करवाई गई है। केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी को शिमला आकर यहां की स्थिति देखनी चाहिए। नियमों की अवहेलना के साथ सड़क निर्माण किया जा रहा है और लोगों के खेत और बगीचे बर्बाद हो गए हैं। वन विभाग और राजस्व विभाग ने एनएचएआई के निर्माण में लापरवाही के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई है। अनिरुद्ध सिंह ने पूरे सिस्टम को ही गलत ठहराया है। जयराम ठाकुर पर अनिरुद्ध सिंह का पलटवार करते हुए कहा कि जयराम ठाकुर केंद्र सरकार से मदद क्यों नहीं लेते हैं। जयराम ठाकुर को लोगों का दर्द समझने की जरूरत है।
शिमला , 02 जुलाई [ विशाल सूद ] ! ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री अनिरुद्ध सिंह ने खुदपर लगे आरोपों को निराधार बताया है। अनिरुद्ध सिंह ने कहा कि अधिकारी घर गिरने का मामला दबाने के लिए झूठी शिकायत दर्ज करवा रहे हैं। अनिरुद्ध सिंह ने कहा कि एफआईआर में लगे आरोप बिलकुल निराधार हैं। उन्होंने एनएचएआई के सड़क निर्माण में लापरवाही को लेकर गंभीर आरोप लगाए। इस संबंध में वे जल्द ही केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी से मुलाकात करेंगे।
उन्होंने कहा कि एनएचएआई के अधिकारी और ठेकेदार सड़क निर्माण में गड़बड़ी करते हैं और आम जनता की परेशानियों को नजरअंदाज करते हैं। एनएचएआई के अधिकारी और ठेकेदार सड़क निर्माण में कटिंग गलत तरीके से कर रहे हैं। एनएचएआई आंख मूंदकर बैठा हुआ है और सिर्फ मुआवजा देने की बात करता है। इससे जुड़ी लोगों की कई शिकायतें हैं और डीसी और एसडीएम के पास हजारों शिकायतें हैं।
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अनिरुद्ध सिंह ने पूछा कि क्या सिर्फ मुआवजा देना ही काफी है। जो लोग अपना घर और परिवार गंवा रहे हैं, उनके बारे में क्या सोचा गया है। राष्ट्र स्तर पर लोगों की जान बचाने के लिए नीति निर्माण की जरूरत है। एनएचएआई की सड़कों से आम लोगों को बड़ा नुकसान हो रहा है और निर्माण के दौरान लापरवाही बरती जा रही है। एनएचएआई को आम लोगों का दर्द ही नहीं पता है। अधिकारी तो सिर्फ आपदा प्रबंधन की मीटिंग कर रहे थे, लोगों के साथ जुड़े रहने की जरूरत है।
एनएचएआई के अधिकारियों ने लोगों के साथ दुर्व्यवहार किया है और मारपीट के जो आरोप लगाए, वह निराधार हैं। एनएचएआई अधिकारियों ने पहले कहा कि कोई मारपीट नहीं हुई, बाद में अपना बयान बदल दिया गया। अपनी गलती छिपाने के लिए अब एफआईआर दर्ज करवाई गई है।
केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी को शिमला आकर यहां की स्थिति देखनी चाहिए। नियमों की अवहेलना के साथ सड़क निर्माण किया जा रहा है और लोगों के खेत और बगीचे बर्बाद हो गए हैं। वन विभाग और राजस्व विभाग ने एनएचएआई के निर्माण में लापरवाही के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई है। अनिरुद्ध सिंह ने पूरे सिस्टम को ही गलत ठहराया है। जयराम ठाकुर पर अनिरुद्ध सिंह का पलटवार करते हुए कहा कि जयराम ठाकुर केंद्र सरकार से मदद क्यों नहीं लेते हैं। जयराम ठाकुर को लोगों का दर्द समझने की जरूरत है।
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