विश्व हेवीवेट चैंपियनशिप जीतकर शिमला लौटे, युवाओं को दिया ‘फिटनेस फॉर फ्यूचर’ संदेश
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शिमला, 06 अक्तूबर [ विशाल सूद ] ! दक्षिण अफ्रीका में आयोजित “रेसल मॉन्स्टर 7” वर्ल्ड हेवीवेट चैंपियनशिप जीतकर देश का नाम रोशन करने वाले भारतीय प्रो रेसलर टाइगर राप्टा (दिनेश) ने सोमवार को शिमला में पत्रकार वार्ता कर अपनी ऐतिहासिक उपलब्धि को प्रदेश और देश के युवाओं को समर्पित किया। चौपाल उपमंडल के मड़ावग गांव के रहने वाले टाइगर राप्टा ने कहा कि यह जीत सिर्फ उनकी नहीं, बल्कि पूरे भारत की जीत है। उन्होंने बताया कि चैम्पियनशिप के फाइनल मुकाबले में उन्होंने पोर्ट एलिज़ाबेथ में दुनिया के 20 नामी रेसलरों को पटखनी दी। टाइगर ने कहा, “मैंने जब रेसलिंग शुरू की थी, तब सपना देखा था कि भारत का झंडा अंतरराष्ट्रीय मंच पर लहराए — आज वह सपना पूरा हुआ है।” टाइगर राप्टा ने हिमाचल के युवाओं से नशे से दूर रहने की अपील करते हुए कहा कि खेल और फिटनेस ही सफलता की असली कुंजी हैं। “नशा किसी का साथी नहीं, बल्कि विनाश का रास्ता है। युवाओं को खेल की ओर रुझान बढ़ाना होगा,” उन्होंने कहा उन्होंने प्रदेश सरकार से हिमाचल में रेसलिंग अकादमी खोलने की मांग की ताकि स्थानीय युवाओं की प्रतिभा को मंच मिल सके। उन्होंने कहा, “हिमाचल के युवाओं में टैलेंट की कोई कमी नहीं, मौका मिले तो सौ खली और टाइगर यहीं से निकलेंगे।” राप्टा जल्द ही “फिटनेस फॉर फ्यूचर” अभियान के तहत प्रदेशभर में युवाओं से संवाद कर उन्हें खेलों से जोड़ने की मुहिम शुरू करेंगे।
शिमला, 06 अक्तूबर [ विशाल सूद ] ! दक्षिण अफ्रीका में आयोजित “रेसल मॉन्स्टर 7” वर्ल्ड हेवीवेट चैंपियनशिप जीतकर देश का नाम रोशन करने वाले भारतीय प्रो रेसलर टाइगर राप्टा (दिनेश) ने सोमवार को शिमला में पत्रकार वार्ता कर अपनी ऐतिहासिक उपलब्धि को प्रदेश और देश के युवाओं को समर्पित किया। चौपाल उपमंडल के मड़ावग गांव के रहने वाले टाइगर राप्टा ने कहा कि यह जीत सिर्फ उनकी नहीं, बल्कि पूरे भारत की जीत है।
उन्होंने बताया कि चैम्पियनशिप के फाइनल मुकाबले में उन्होंने पोर्ट एलिज़ाबेथ में दुनिया के 20 नामी रेसलरों को पटखनी दी। टाइगर ने कहा, “मैंने जब रेसलिंग शुरू की थी, तब सपना देखा था कि भारत का झंडा अंतरराष्ट्रीय मंच पर लहराए — आज वह सपना पूरा हुआ है।”
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टाइगर राप्टा ने हिमाचल के युवाओं से नशे से दूर रहने की अपील करते हुए कहा कि खेल और फिटनेस ही सफलता की असली कुंजी हैं। “नशा किसी का साथी नहीं, बल्कि विनाश का रास्ता है। युवाओं को खेल की ओर रुझान बढ़ाना होगा,” उन्होंने कहा
उन्होंने प्रदेश सरकार से हिमाचल में रेसलिंग अकादमी खोलने की मांग की ताकि स्थानीय युवाओं की प्रतिभा को मंच मिल सके। उन्होंने कहा, “हिमाचल के युवाओं में टैलेंट की कोई कमी नहीं, मौका मिले तो सौ खली और टाइगर यहीं से निकलेंगे।”
राप्टा जल्द ही “फिटनेस फॉर फ्यूचर” अभियान के तहत प्रदेशभर में युवाओं से संवाद कर उन्हें खेलों से जोड़ने की मुहिम शुरू करेंगे।
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