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सोलन , [ बद्दी ] 05 मार्च [ पंकज गोल्डी ] ! बद्दी यूनिवर्सिटी ने हाल ही में प्रिंट एंड इलेक्ट्रॉनिक मीडिया द्वारा बिना तथ्यों के लगाई गई एकतरफा खबर का खंडन किया है। बद्दी यूनिवर्सिटी के रजिस्ट्रार ने पत्रकार वार्ता कर जहां एकतरफा खबर को दुर्भाग्यपूर्ण बताया वहीं छात्रों के आरोपों को भी निराधार करार दिया। बद्दी यूनिवर्सिटी के रजिस्ट्रार ने कहा कि बद्दी विश्वविद्यालय में 2018-19 के शैक्षणिक सत्र से शुरू हुआ था तब आईएनसी के तहत ही बच्चों की शैक्षणिक एडमिशन हुई थी। लेकिन हमें 2021 की इंस्पेक्शन में टेक्निकली कुछ दिक्कत आ गई जिससे आईएनसी ने हमें 2021 में बताया कि आपके पास हॉस्पिटल अटैचमेंट की कमी है। विश्वविद्यालय ने सभी नियमों के अनुसार 40 किलोमीटर की परिधि में चंडीगढ़ और रोपड़ के अस्पतालों से अनुबंध किया जिसे कि आईएनसी ने कहा कि आपको केवल हिमाचल में ही 40 किलोमीटर की परिधि में हॉस्पिटल अटैचमेंट चाहिए होगी। जिसके लिए आईएनसी ने 2018-19 व 20 और 2021 के सत्र के विद्यार्थियों को मान्यता विधिवत रखते हुए 4-12-2021 के बाद मान्यता रद्द कर दी जो कि 8 अप्रैल 2022 को प्रकाशित की गई। विश्वविद्यालय ने 2022 में कोई एडमिशन नहीं की ओर विश्वविद्यालय में पढ़ने वाले इन चार सत्र के विद्यार्थियों की पढ़ाई को सुचारू रूप से चलाने के लिए आईएनसी अटल मेडिकल कॉलेज मंडी को इनके पेपर करवाने का अनुरोध किया। जिसके फलस्वरूप प्रथम वर्ष की एप्लीकेशन और माइग्रेशन करके इनके एग्जाम अटल मेडिकल कॉलेज में कर लिए जो दूसरे तीसरे और चौथे वर्ष के छात्र हैं उनके एग्जाम हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय करेगा। जहां से अटल मेडिकल कॉलेज बनने से पहले एचपीयू से ही यह एग्जाम कनेक्ट होते थे। बद्दी विश्वविद्यालय की नर्सिंग कॉलेज की एचपीयू से एफीलिएशन हो चुकी है और माइग्रेशन के सारे पेपर्स इस विश्वविद्यालय से हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय में जमा हो चुके हैं। आईएनसी की दिशा निर्देशों के अनुसार इन बच्चों की पढ़ाई बद्दी विश्वविद्यालय में होगी लेकिन एग्जाम एचपीयू करेगा। इस विश्वविद्यालय से सारी फॉर्मेलिटी पूरी कर ली गई हैं, अब इनका एग्जाम एचपीयू कंडक्ट करेगा। इन बच्चों के एग्जामिनेशन की देरी का कारण इंडियन नर्सिंग काउंसिल से देरी से सूचित करना और देरी से ही सारे प्रोसेस को इंटिमेट करना ही कारण रहा है। मौजूदा हालात में 3 सत्र के एग्जाम एचपी यूनिवर्सिटी शिमला कनेक्ट करेगी और प्रथम वर्ष के छात्रों के एग्जाम अटल मेडिकल कॉलेज मंडी में जनवरी में आयोजित हो चुके हैं। बद्दी यूनिवर्सिटी के रजिस्ट्रार ने कहा कि हमें खेद हैैै कि बिना तथ्यों आधार पर न्यूज़़ लगाई गई और छात्रों के निराधार आरोपों पर मीडिया कर्मियों ने यूनिवर्सिटी प्रबंधन का पक्ष लेना भी जरूरी नहीं समझा जो की अति दुर्भाग्यपूर्णण है। https://youtube.com/playlist?list=PLfNkwz3upB7OrrnGCDxBewe7LwsUn1bhs
सोलन , [ बद्दी ] 05 मार्च [ पंकज गोल्डी ] ! बद्दी यूनिवर्सिटी ने हाल ही में प्रिंट एंड इलेक्ट्रॉनिक मीडिया द्वारा बिना तथ्यों के लगाई गई एकतरफा खबर का खंडन किया है। बद्दी यूनिवर्सिटी के रजिस्ट्रार ने पत्रकार वार्ता कर जहां एकतरफा खबर को दुर्भाग्यपूर्ण बताया वहीं छात्रों के आरोपों को भी निराधार करार दिया। बद्दी यूनिवर्सिटी के रजिस्ट्रार ने कहा कि बद्दी विश्वविद्यालय में 2018-19 के शैक्षणिक सत्र से शुरू हुआ था तब आईएनसी के तहत ही बच्चों की शैक्षणिक एडमिशन हुई थी।
लेकिन हमें 2021 की इंस्पेक्शन में टेक्निकली कुछ दिक्कत आ गई जिससे आईएनसी ने हमें 2021 में बताया कि आपके पास हॉस्पिटल अटैचमेंट की कमी है। विश्वविद्यालय ने सभी नियमों के अनुसार 40 किलोमीटर की परिधि में चंडीगढ़ और रोपड़ के अस्पतालों से अनुबंध किया जिसे कि आईएनसी ने कहा कि आपको केवल हिमाचल में ही 40 किलोमीटर की परिधि में हॉस्पिटल अटैचमेंट चाहिए होगी।
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जिसके लिए आईएनसी ने 2018-19 व 20 और 2021 के सत्र के विद्यार्थियों को मान्यता विधिवत रखते हुए 4-12-2021 के बाद मान्यता रद्द कर दी जो कि 8 अप्रैल 2022 को प्रकाशित की गई। विश्वविद्यालय ने 2022 में कोई एडमिशन नहीं की ओर विश्वविद्यालय में पढ़ने वाले इन चार सत्र के विद्यार्थियों की पढ़ाई को सुचारू रूप से चलाने के लिए आईएनसी अटल मेडिकल कॉलेज मंडी को इनके पेपर करवाने का अनुरोध किया। जिसके फलस्वरूप प्रथम वर्ष की एप्लीकेशन और माइग्रेशन करके इनके एग्जाम अटल मेडिकल कॉलेज में कर लिए जो दूसरे तीसरे और चौथे वर्ष के छात्र हैं उनके एग्जाम हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय करेगा।
जहां से अटल मेडिकल कॉलेज बनने से पहले एचपीयू से ही यह एग्जाम कनेक्ट होते थे। बद्दी विश्वविद्यालय की नर्सिंग कॉलेज की एचपीयू से एफीलिएशन हो चुकी है और माइग्रेशन के सारे पेपर्स इस विश्वविद्यालय से हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय में जमा हो चुके हैं। आईएनसी की दिशा निर्देशों के अनुसार इन बच्चों की पढ़ाई बद्दी विश्वविद्यालय में होगी लेकिन एग्जाम एचपीयू करेगा। इस विश्वविद्यालय से सारी फॉर्मेलिटी पूरी कर ली गई हैं, अब इनका एग्जाम एचपीयू कंडक्ट करेगा। इन बच्चों के एग्जामिनेशन की देरी का कारण इंडियन नर्सिंग काउंसिल से देरी से सूचित करना और देरी से ही सारे प्रोसेस को इंटिमेट करना ही कारण रहा है।
मौजूदा हालात में 3 सत्र के एग्जाम एचपी यूनिवर्सिटी शिमला कनेक्ट करेगी और प्रथम वर्ष के छात्रों के एग्जाम अटल मेडिकल कॉलेज मंडी में जनवरी में आयोजित हो चुके हैं। बद्दी यूनिवर्सिटी के रजिस्ट्रार ने कहा कि हमें खेद हैैै कि बिना तथ्यों आधार पर न्यूज़़ लगाई गई और छात्रों के निराधार आरोपों पर मीडिया कर्मियों ने यूनिवर्सिटी प्रबंधन का पक्ष लेना भी जरूरी नहीं समझा जो की अति दुर्भाग्यपूर्णण है।
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