कहा, खून से लाल हो रहा ऊना और कांग्रेस सरकार कर रही माफियाओं की रखवाली बोले,, ऊना सदर क्षेत्र में राजनीतिक संरक्षण के चलते फल-फूल रहा अवैध धंधा और गुंडाराज
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ऊना , 20 नवंबर [ विशाल सूद ] ! ऊना विधानसभा सदर क्षेत्र में बढ़ रहे गोलीकांड, अवैध खनन, गुंडाराज, फिरौती माफिया, शराब माफिया, गैंगस्टर व असामजिक तत्त्वों को लेकर भाजपा पूर्व प्रदेशाध्यक्ष एवं सदर ऊना के विधायक सतपाल सत्ती ने जिला में बिगड़ती कानून व्यवस्था को लेकर गहरा दुख प्रकट करते हुए पत्रकार वार्ता में कहा कि हिमाचल प्रदेश में जब से कांग्रेस पार्टी की सरकार चल रही है, तब से पूरे प्रदेश में माफिया राज पूरी तरह से व्याप्त है और इस माफिया को पूरी तरह से राजनीतिक संरक्षण प्राप्त है, जबकि सरकारी तंत्र भी राजनीति संरक्षण के आगे पंगु बनकर बैठा हुआ है। उन्होंने कहा कि ऊना विधानसभा क्षेत्र में तो यह माफिया चरम सीमा पर है क्योंकि ऊना विधानसभा क्षेत्र में स्थानीय कांग्रेसी नेता के राजनीतिक संरक्षण के चलते इस समय यह क्षेत्र माफिया का अड्डा बनकर रह गया है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2012 से 2017 तक जब प्रदेश में कांग्रेस की सरकार थी तो उस समय रेत और चिट्ठा माफिया केवल सक्रिय ही नहीं हुआ था बल्कि उस समय भी सरकारी संरक्षण के चलते यहां माफिया से जुड़े लोग खूब फले-फूले थे। परंतु वर्तमान कांग्रेस सरकार के चलते अब फिरौती माफिया एवं शराब माफिया पिछले तीन वर्षों से पूरी तरह अपने पांव पसारे हुए हैं लेकिन उन्हें पूछने वाला कोई नहीं है, उन्होंने कहा कि इतना ही नहीं, अब क्षेत्र में सरेआम गैंगवार भी सक्रिय हो चुके हैं और सरकार ब ऊना प्रशासन उन पर कोई भी अंकुश नहीं लग रहा है। उन्होंने कहा कि माफिया के साथ-साथ अब ऐसे असामाजिक तत्वों का उत्पन्न होना, वर्तमान कांग्रेस सरकार की निष्क्रियता की पोल खोल रहा है। सतपाल सत्ती ने चुटकी लेते हुए कहा कि ऊना का बच्चा-बच्चा जानता है कि यह अबैध धंधे कौन करवा रहा है? कौन इस माफिया से जुड़े लोगों को राजनीति संरक्षण की एवज में अपना हिस्सा वसुल रहा है? उन्होंने कहा कि 1 जुलाई से 15 सितंबर 2025 तक जिला की सभी नदियों में खनन गतिविधियों पर रोक लगाने के आदेश जारी किए गए थे, लेकिन फिर भी धड़ल्ले से खनन माफिया अवैध खनन करता रहा जबकि स्वां नदी पर बने झलेडा़ पुल से लेकर संतोषगढ़ के आगे पंजाब सीमा तक कोई भी वैद्य मीईनिंग लीज नहीं है, क्योंकि वह सब पूर्व भाजपा सरकार के समय में रद्द कर दी गई थी,। बावजूद इसके स्वां नदी में स्थानीय कांग्रेसी नेता के संरक्षण में जेसीबी व पोकलेन मशीनों द्वारा लगाकर अवैध खनन करवाकर माफियाओं से महीना वसूला जा रहा है। उन्होंने कहा कि इस बात का जिला प्रशासन साक्षी हैं कि ऊना के फतेहपुर-नंगडा में जो टिप्पर, जेसीबी एवं पोकलेन मशीने पकड़ी गई थी, वह सब कांग्रेस से जुड़े लोगों की थी, और उनको बचाने के लिए कांग्रेस का स्थानीय नेता प्रशासन पर दबाव डालता रहा है। उन्होंने कहा कि स्थानीय कांग्रेस नेता ने सरकार के संरक्षण में स्वां नदी को अपने आकाओं द्वारा छलनी करवा दिया है, और अपने आप खुद उनसे महीना वसूली कर रहा है। वहीं विधायक सतपाल सत्ती ने गत बुधवार मध्य रात्रि को स्थानीय कांग्रेस नेता के रायजादा होटल में हुए गोली कांड में मारे गए संतोषगढ़ के युवक की मौत पर दुख प्रकट करते हुए कहा कि यह सब सोची-समझी साजिश के तहत हुआ है। सतपाल सत्ती ने कहा कि स्थानीय कांग्रेस नेता का रायजादा होटल माफिया का अड्डा बना हुआ है यहां आए दिन कोई ना कोई घटनाक्रम चलता रहता है, लेकिन जब कोई ऐसे घटनाक्रमों को उजागर करने की बात करता है, तो उसकी आवाज को सरकार का रौब दिखाकर दबा लिया जाता है। उन्होंने कहा कि आखिर कब तक इस रायजादा होटल में असमाजिक तत्वों का बोलबाला चलता रहेगा। उन्होंने कहा कि इसी होटल से गत वर्ष पहले भी कुछ युवा देर रात तक पार्टी करके जाते हैं और कुछ ही देर बाद वह पांचों युवा मौत का शिकार हो जाते हैं उसके पीछे भी कोई ना कोई साजिश जरूर थी जो स्थानीय प्रशासन और प्रदेश सरकार की निष्क्रियता के चलते आज दिन तक उजागर नहीं हो पाई है, और मरणोपरांत भी उन युवाओं को न्याय नहीं मिला है कि आखिर किसके इशारे पर उन्हें मौत के घाट उतारा गया था। सतपाल सती ने दो टूक कहा कि रायजादा होटल का धंधा तुरंत बंद करना चाहिए क्योंकि यह होटल नशे का अड्डा बना हुआ है उन्होंने प्रदेश सरकार और जिला प्रशासन से आग्रह किया है कि उक्त होटल को तुरंत प्रभाव से सील कर देना चाहिए ताकि भविष्य में अन्य युवाओं को खून की नदियां बहाने से बचाया जा सके। उन्होंने कहा कि स्थानीय कांग्रेस नेता के इशारे पर क्षेत्र में अगर अवैध धंधे नहीं रुकते, तो आने वाले समय में ऊना भाजपा जनता के सहयोग से एक बड़ा आंदोलन करेगी, जिसकी जिम्मेदारी प्रदेश सरकार और जिला प्रशासन की होगी। इतना ही नहीं, सती ने बड़ा हमला बोलते हुए कहा कि ऊना में खून की नदियां बह रही है लेकिन प्रदेश सरकार और जिला प्रशासन माफियाओं को संरक्षण दे रहा है। और आज ऊना में कानून नहीं बल्कि माफिया की चलती है, जबकि यह माफिया कांग्रेस के स्थानीय नेता की छत्रछाया में फल-फूल रहा है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेता के संरक्षण में ऊना अवैध खनन का अड्डा, शराब व फिरौती माफिया का गढ़, ड्रग पैडलरों की पाठशाला, और गैंगस्टरों की शरणस्थली बन चुका है। गोलियों की आवाज़ ऊना की पहचान बनती जा रही है। और सुखविंदर सिंह सुक्खू की निकम्मी सरकार को शर्म नहीं आती है कि जिला ऊना में विराजमान उनके अधिकारी अपनी मौज मस्ती में मोबाइल फोन पर रीलें बनाने में व्यस्त हैं, उन्हें जनता की कोई चिंता नहीं है, कोई भी अधिकारी ड्यूटी के समय कुर्सी पर बैठा नहीं मिलता है आम जनता परेशान है। जमीन स्तर पर कोई भी विकास कार्य नहीं हो रहा है और अधिकारी कहां जा रहे हैं कहां से आ रहे हैं, कोई पूछने वाला नहीं है, जबकि वह मासिक वेतन किस बात का ले रहे हैं? इसकी निष्पक्ष जांच होनी चाहिए और उनके मासिक कार्यों की समीक्षा होनी चाहिए। सत्ती ने कहा कि लगातार होते गोलीकांड यह साबित कर चुके हैं कि कांग्रेस सरकार की नाकामी अब चरम पर है। अपराधी बेखौफ घूम रहे हैं क्योंकि उन्हें पता है कि उनके पीछे कांग्रेस के नेता खड़े हैं, प्रशासन डरकर बैठा है। सत्ती ने खुलकर आरोप लगाया कि रायजादा होटल में हत्या होना, यह सिर्फ अपराध नहीं बल्कि एक राजनीतिक साजिश है। उन्होंने युवक की गोली मारकर हत्या को कांग्रेस नेता के होटल से जुड़ा हुआ साफ-साफ राजनीतिक अपराध बताया। उन्होंने कहा कि “यह होटल माफियाओं, नशे के कारोबारियों और हथियारबंद गुंडों का अड्डा है। यहां पहले भी पांच युवा मरे हैं। ये मौतें हादसा नहीं, बल्कि जहर भरी साज़िश थीं। सत्ती ने प्रदेश की सुक्खू सरकार को चेताते हुए कहा कि जो होटल युवाओं को नशा पिलाकर उन्हें मौत तक पहुंचा रहा है, उसे तुरंत प्रभाव से सील कर देना चाहिए। अंत में उन्होंने कहा कि ऊना को माफियाओं और अपराधियों के हवाले नहीं होने दिया जाएगा, हमें इसकी कीमत चाहे कुछ भी चुकानी पड़े।
ऊना , 20 नवंबर [ विशाल सूद ] ! ऊना विधानसभा सदर क्षेत्र में बढ़ रहे गोलीकांड, अवैध खनन, गुंडाराज, फिरौती माफिया, शराब माफिया, गैंगस्टर व असामजिक तत्त्वों को लेकर भाजपा पूर्व प्रदेशाध्यक्ष एवं सदर ऊना के विधायक सतपाल सत्ती ने जिला में बिगड़ती कानून व्यवस्था को लेकर गहरा दुख प्रकट करते हुए पत्रकार वार्ता में कहा कि हिमाचल प्रदेश में जब से कांग्रेस पार्टी की सरकार चल रही है, तब से पूरे प्रदेश में माफिया राज पूरी तरह से व्याप्त है और इस माफिया को पूरी तरह से राजनीतिक संरक्षण प्राप्त है, जबकि सरकारी तंत्र भी राजनीति संरक्षण के आगे पंगु बनकर बैठा हुआ है।
उन्होंने कहा कि ऊना विधानसभा क्षेत्र में तो यह माफिया चरम सीमा पर है क्योंकि ऊना विधानसभा क्षेत्र में स्थानीय कांग्रेसी नेता के राजनीतिक संरक्षण के चलते इस समय यह क्षेत्र माफिया का अड्डा बनकर रह गया है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2012 से 2017 तक जब प्रदेश में कांग्रेस की सरकार थी तो उस समय रेत और चिट्ठा माफिया केवल सक्रिय ही नहीं हुआ था बल्कि उस समय भी सरकारी संरक्षण के चलते यहां माफिया से जुड़े लोग खूब फले-फूले थे।
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परंतु वर्तमान कांग्रेस सरकार के चलते अब फिरौती माफिया एवं शराब माफिया पिछले तीन वर्षों से पूरी तरह अपने पांव पसारे हुए हैं लेकिन उन्हें पूछने वाला कोई नहीं है, उन्होंने कहा कि इतना ही नहीं, अब क्षेत्र में सरेआम गैंगवार भी सक्रिय हो चुके हैं और सरकार ब ऊना प्रशासन उन पर कोई भी अंकुश नहीं लग रहा है। उन्होंने कहा कि माफिया के साथ-साथ अब ऐसे असामाजिक तत्वों का उत्पन्न होना, वर्तमान कांग्रेस सरकार की निष्क्रियता की पोल खोल रहा है।
सतपाल सत्ती ने चुटकी लेते हुए कहा कि ऊना का बच्चा-बच्चा जानता है कि यह अबैध धंधे कौन करवा रहा है? कौन इस माफिया से जुड़े लोगों को राजनीति संरक्षण की एवज में अपना हिस्सा वसुल रहा है? उन्होंने कहा कि 1 जुलाई से 15 सितंबर 2025 तक जिला की सभी नदियों में खनन गतिविधियों पर रोक लगाने के आदेश जारी किए गए थे, लेकिन फिर भी धड़ल्ले से खनन माफिया अवैध खनन करता रहा जबकि स्वां नदी पर बने झलेडा़ पुल से लेकर संतोषगढ़ के आगे पंजाब सीमा तक कोई भी वैद्य मीईनिंग लीज नहीं है, क्योंकि वह सब पूर्व भाजपा सरकार के समय में रद्द कर दी गई थी,।
बावजूद इसके स्वां नदी में स्थानीय कांग्रेसी नेता के संरक्षण में जेसीबी व पोकलेन मशीनों द्वारा लगाकर अवैध खनन करवाकर माफियाओं से महीना वसूला जा रहा है। उन्होंने कहा कि इस बात का जिला प्रशासन साक्षी हैं कि ऊना के फतेहपुर-नंगडा में जो टिप्पर, जेसीबी एवं पोकलेन मशीने पकड़ी गई थी, वह सब कांग्रेस से जुड़े लोगों की थी, और उनको बचाने के लिए कांग्रेस का स्थानीय नेता प्रशासन पर दबाव डालता रहा है। उन्होंने कहा कि स्थानीय कांग्रेस नेता ने सरकार के संरक्षण में स्वां नदी को अपने आकाओं द्वारा छलनी करवा दिया है, और अपने आप खुद उनसे महीना वसूली कर रहा है।
वहीं विधायक सतपाल सत्ती ने गत बुधवार मध्य रात्रि को स्थानीय कांग्रेस नेता के रायजादा होटल में हुए गोली कांड में मारे गए संतोषगढ़ के युवक की मौत पर दुख प्रकट करते हुए कहा कि यह सब सोची-समझी साजिश के तहत हुआ है। सतपाल सत्ती ने कहा कि स्थानीय कांग्रेस नेता का रायजादा होटल माफिया का अड्डा बना हुआ है यहां आए दिन कोई ना कोई घटनाक्रम चलता रहता है, लेकिन जब कोई ऐसे घटनाक्रमों को उजागर करने की बात करता है, तो उसकी आवाज को सरकार का रौब दिखाकर दबा लिया जाता है।
उन्होंने कहा कि आखिर कब तक इस रायजादा होटल में असमाजिक तत्वों का बोलबाला चलता रहेगा। उन्होंने कहा कि इसी होटल से गत वर्ष पहले भी कुछ युवा देर रात तक पार्टी करके जाते हैं और कुछ ही देर बाद वह पांचों युवा मौत का शिकार हो जाते हैं उसके पीछे भी कोई ना कोई साजिश जरूर थी जो स्थानीय प्रशासन और प्रदेश सरकार की निष्क्रियता के चलते आज दिन तक उजागर नहीं हो पाई है, और मरणोपरांत भी उन युवाओं को न्याय नहीं मिला है कि आखिर किसके इशारे पर उन्हें मौत के घाट उतारा गया था।
सतपाल सती ने दो टूक कहा कि रायजादा होटल का धंधा तुरंत बंद करना चाहिए क्योंकि यह होटल नशे का अड्डा बना हुआ है उन्होंने प्रदेश सरकार और जिला प्रशासन से आग्रह किया है कि उक्त होटल को तुरंत प्रभाव से सील कर देना चाहिए ताकि भविष्य में अन्य युवाओं को खून की नदियां बहाने से बचाया जा सके। उन्होंने कहा कि स्थानीय कांग्रेस नेता के इशारे पर क्षेत्र में अगर अवैध धंधे नहीं रुकते, तो आने वाले समय में ऊना भाजपा जनता के सहयोग से एक बड़ा आंदोलन करेगी, जिसकी जिम्मेदारी प्रदेश सरकार और जिला प्रशासन की होगी।
इतना ही नहीं, सती ने बड़ा हमला बोलते हुए कहा कि ऊना में खून की नदियां बह रही है लेकिन प्रदेश सरकार और जिला प्रशासन माफियाओं को संरक्षण दे रहा है। और आज ऊना में कानून नहीं बल्कि माफिया की चलती है, जबकि यह माफिया कांग्रेस के स्थानीय नेता की छत्रछाया में फल-फूल रहा है।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेता के संरक्षण में ऊना अवैध खनन का अड्डा, शराब व फिरौती माफिया का गढ़, ड्रग पैडलरों की पाठशाला, और गैंगस्टरों की शरणस्थली बन चुका है। गोलियों की आवाज़ ऊना की पहचान बनती जा रही है। और सुखविंदर सिंह सुक्खू की निकम्मी सरकार को शर्म नहीं आती है कि जिला ऊना में विराजमान उनके अधिकारी अपनी मौज मस्ती में मोबाइल फोन पर रीलें बनाने में व्यस्त हैं, उन्हें जनता की कोई चिंता नहीं है, कोई भी अधिकारी ड्यूटी के समय कुर्सी पर बैठा नहीं मिलता है आम जनता परेशान है। जमीन स्तर पर कोई भी विकास कार्य नहीं हो रहा है और अधिकारी कहां जा रहे हैं कहां से आ रहे हैं, कोई पूछने वाला नहीं है, जबकि वह मासिक वेतन किस बात का ले रहे हैं? इसकी निष्पक्ष जांच होनी चाहिए और उनके मासिक कार्यों की समीक्षा होनी चाहिए।
सत्ती ने कहा कि लगातार होते गोलीकांड यह साबित कर चुके हैं कि कांग्रेस सरकार की नाकामी अब चरम पर है। अपराधी बेखौफ घूम रहे हैं क्योंकि उन्हें पता है कि उनके पीछे कांग्रेस के नेता खड़े हैं, प्रशासन डरकर बैठा है। सत्ती ने खुलकर आरोप लगाया कि रायजादा होटल में हत्या होना, यह सिर्फ अपराध नहीं बल्कि एक राजनीतिक साजिश है। उन्होंने युवक की गोली मारकर हत्या को कांग्रेस नेता के होटल से जुड़ा हुआ साफ-साफ राजनीतिक अपराध बताया। उन्होंने कहा कि “यह होटल माफियाओं, नशे के कारोबारियों और हथियारबंद गुंडों का अड्डा है।
यहां पहले भी पांच युवा मरे हैं। ये मौतें हादसा नहीं, बल्कि जहर भरी साज़िश थीं। सत्ती ने प्रदेश की सुक्खू सरकार को चेताते हुए कहा कि जो होटल युवाओं को नशा पिलाकर उन्हें मौत तक पहुंचा रहा है, उसे तुरंत प्रभाव से सील कर देना चाहिए। अंत में उन्होंने कहा कि ऊना को माफियाओं और अपराधियों के हवाले नहीं होने दिया जाएगा, हमें इसकी कीमत चाहे कुछ भी चुकानी पड़े।
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